विवाह रेखा का छोटी उंगली की तरफ मुड़ जाना | Vivah Rekha

विवाह रेखा ऊपर मुड़कर छोटी उंगली की तरफ चली जाए 


यदि किसी मनुष्य के दाहिने हाथ में विवाह रेखा बुध पर्वत पर मुड़कर, ऊपर की ओर कनिष्टिका उगली के तृतीय पोरुए की सन्धिगत से मिल जाये तो उसको आजीवन क्वारा या अविवाहित ही रहना पड़ता है। ऐसी दशा में विवाह के लिए बातचीत तो बहुत होती है किन्तु विवाह किसी प्रकार से तय नहीं हो पाता है। 

यदि येन-केन -प्रकारेण शादी हो भी जाय तो उसका परिणाम बड़ा भयंकर होता है क्योंकि देखने में यही आया है कि जिस स्त्री-पुरुष के हाथ में यह उर्ध्वगामी विवाह रेखा होती है उसकी मृत्यु या अलगाव विवाह संबन्ध होने के कुछ ही समय पश्चात् हो जाया करता है जोकि किसी भी हाथ में दुर्भाग्यपूर्ण लक्षण प्रतीत होता है ।