मणिबन्ध से आरम्भ होने वाली भाग्य रेखा
मणिबन्ध की प्रथम रेखा से आरम्भ होकर सीधी अपने गन्तव्य स्थान शनि क्षेत्र तक जाने वाली भाग्य रेखा, अत्यन्त सौभाग्य और सफलता की सूचक होती है। ऐसी रेखा प्रबल इच्छाशक्ति और जन्मजात भाग्यशाली होने की पुष्टि करती है। जिन परिस्थितियों में जातक का जन्म होता है, वे समृद्ध और प्रतिष्ठापूर्ण होती हैं। घर-परिवार की आर्थिक व सामाजिक स्थिति खूब अच्छी रहती है, किन्तु जातक के जीवन में जल्दी ही ज़िम्मेदारियों का बोझ आ जाता है। ऐसे लोग संस्कारवान्, वचन के पक्के, दृढ़ इच्छाशक्ति वाले, भाग्यशाली और यशस्वी होते हैं।